शनिवार, जनवरी 26, 2013

गणतंत्र गाओ

गणतंत्र गाओ
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सफ़र लम्बा
किया तय
हासिल क्या करना था
यह भी तय किया था
हासिल हुआ क्या
यह कौन तय करे 
बताने वाले मौन हैं
पूछने वालों से कहते हैं
आप पूछने वाले कौन हैं
हम आपके नायक है
फीड़ अब खलनायक है!

जाओ
झंडा फहराओ
गणतंत्र गाओ
चाहे कुछ मत खाओ
भारत भाग्य विधाता है
हम पर न सही
अपन भाग्य पर तो
विश्वास क
रो !